34 लोगों के सैंपल लिए लेकिन सभी निगेटिव निकले ...
मरीजों को नुकसान नहीं
कानपुर में लॉकडाउन और शहरियों की इम्युनिटी (शरीर की प्रतिरोध क्षमता) के चलते कोरोना संक्रमण की चेन कमजोर पड़ गई है। अभी तक सामने आए मरीजों और उनके संपर्क में रहनेे वालों पर जो सर्वे हो रहा है, उसके आंकड़े यही साबित कर हैं।
अगर इस स्थिति को बनाए रखा जाए तो कोरोना से सुरक्षा बनी रहेगी। इम्युनिटी और इलाज के चलते कोरोना संक्रमित मरीजाें को अभी तक कोई नुकसान नहीं हुआ है। विशेषज्ञों का कहना है कि ये अच्छे संकेत हैं। कोरोना संक्रमण के संबंध में विशेषज्ञों का कहना है कि इसकी स्पीड बहुत तेज है।
इससे एक से 10 व्यक्तियों के संक्रमित होने की चेन बनती है। मरीज में वायरस लोड तेजी से बढ़ता है, जिससे दो दिन में उसमें एक्यूट रेस्पेेरेटरी डिस्ट्रेस की स्थिति बन जाती है और व्यक्ति वेंटिलेटर पर चला जाता है। इसके बाद मौत हो जाती है।
लेकिन शहर में कोरोना मरीजों की यह स्थिति नहीं है। एनआरआई सिटी में मिले शहर के पहले कोरोना मरीज वृद्ध होने के बावजूद ठीक हो चुके हैं। उनके संपर्क में रहे परिवार के पांच सदस्यों तक भी संक्रमण नहीं पहुंचा। इस मामले में संक्रमण फैलने की दर शून्य रही।
इसी तरह बरीपाल घाटमपुर के अधेड़ जमाती के संपर्क में उसके घर के छह सदस्य थे, लेकिन सिर्फ उसका बेटा ही संक्रमित हुआ। घर के अन्य पांच सदस्य निगेटिव हैं। वहीं, बॉलीवुड गायिका कनिका कपूर के संपर्क में 50 से अधिक लोगों के आने की बात कही गई थी।
स्वास्थ्य विभाग ने इनमें से 34 लोगों के सैंपल लिए लेकिन सभी निगेटिव निकले। ये क्वारंटीन का समय भी पूरा कर चुके हैं। किसी में संक्रमण के संकेत नहीं हैं। अपर निदेशक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण डॉ. आरपी यादव का कहना है कि अगर व्यक्ति की इम्युनिटी ठीक है तो संक्रमण पता भी नहीं चलता।
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